भारत का आधुनिक विज्ञान तीर्थ

स्वामी विवेकानन्द की प्रेरणा तथा प्रसिद्ध उद्योगपति जमशेदजी टाटा की दूरदृष्टि की परिणती भारतीय विज्ञान संस्थान (IISc) के रूप में हुई।

भारत का आधुनिक विज्ञान तीर्थ

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स्वामी विवेकानन्द की प्रेरणा तथा प्रसिद्ध उद्योगपति जमशेदजी टाटा की दूरदृष्टि की परिणती भारतीय विज्ञान संस्थान (IISc) के रूप में हुई।

मलयाचल के सुरम्य वातावरण में 400 एकड़ के विशाल परिसर में अवस्थित यह संस्थान बेंगलुरु नगर के साथ-साथ पूरे देश की भी पहचान है।

रसायनशास्त्र, अनुप्रयुक्त रासायनिकी, विद्युत प्रौद्योगिकी जैसे विभागों के साथ 1909 में अपनी यात्रा आरंभ करने वाले इस संस्थान ने पिछले 115 वर्षों में अन्तरिक्ष प्रौद्योगिकी, जैव प्रौद्योगिकी, नाभिकीय भौतिकी जैसी विज्ञान की विविध शाखाओं में उच्चकोटि की शोधपरम्परा विकसित की है।

सर मॉरिस ट्रैवर्स, सर सी. वी. रमन, सर जे. सी. घोष, प्रो. सतीश धवन जैसे विश्वविख्यात वैज्ञानिकों ने निदेशक के रूप में इस संस्थान का नेतृत्व किया है।

सर एम. विश्वेश्वरैया, राजा रामन्ना, विक्रम साराभाई, डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम आदि महान वैज्ञानिक इस संस्थान के विद्यार्थी रहे हैं। यही कारण है कि हम इसे भारतवर्ष में आधुनिक विज्ञान का तीर्थ कहते हैं।

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