जस्टिस यशवंत वर्मा को कोई न्यायिक कार्य नहीं सौंपे… CJI ने शुरू की इन-हाउस इंक्वायरी

प्रधान न्यायाधीश संजीव खन्ना ने दिल्ली उच्च न्यायालय के न्यायमूर्ति यशवंत वर्मा के खिलाफ लगे आरोपों की जांच के लिए तीन सदस्यीय समिति गठित की है. जस्टिस वर्मा के आवास में आग लगने के बाद कथित रूप से बड़ी मात्रा में नकदी मिलने की खबरों के बाद यह कदम उठाया गया है. जांच समिति में तीन उच्च न्यायालयों के मुख्य न्यायाधीश शामिल हैं. सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश को जस्टिस वर्मा को कोई न्यायिक कार्य न सौंपने का निर्देश दिया है.

Mar 22, 2025 - 19:31
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जस्टिस यशवंत वर्मा को कोई न्यायिक कार्य नहीं सौंपे… CJI ने शुरू की इन-हाउस इंक्वायरी
जस्टिस यशवंत वर्मा को कोई न्यायिक कार्य नहीं सौंपे… CJI ने शुरू की इन-हाउस इंक्वायरी

भारत के मुख्य न्यायाधीश (सीजेआई) संजीव खन्ना ने जस्टिस यशवंत वर्मा से संबंधित आरोपों की आंतरिक जांच शुरू कर दी है. इस मामले की जांच के लिए तीन सदस्यीय समिति गठित की गई है, जिनके सरकारी आवास से कथित तौर पर आग लगने के बाद बड़ी मात्रा में नकदी बरामद की गई थी. इसके साथ ही मुख्य न्यायाधीश ने दिल्ली उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश को न्यायमूर्ति यशवंत वर्मा को कोई न्यायिक कार्य न सौंपने के लिए कहा है.

जांच समिति में पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति शील नागू, हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति जी एस संधावालिया और कर्नाटक उच्च न्यायालय की न्यायाधीश अनु शिवरामन शामिल हैं.

सुप्रीम कोर्ट ने बयान जारी कर कही ये बात

शीर्ष न्यायालय के एक बयान में कहा गया है, “दिल्ली उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश द्वारा प्रस्तुत रिपोर्ट, न्यायमूर्ति यशवंत वर्मा का जवाब और अन्य दस्तावेज सर्वोच्च न्यायालय की वेबसाइट पर अपलोड किए जा रहे हैं.”

14 मार्च को रात करीब 11.35 बजे वर्मा के लुटियंस दिल्ली स्थित आवास में आग लगने के बाद कथित रूप से काफी नकद मिला था, जिसके बाद दिल्ली अग्निशमन विभाग के कर्मियों को मौके पर पहुंचकर आग बुझानी पड़ी. हालांकि, दिल्ली अग्निशमन सेवा प्रमुख अतुल गर्ग ने अग्निशमन कर्मियों द्वारा नकदी मिलने के दावों से इनकार किया.

जस्टिस वर्मा पर लगे आरोप से खलबली

इस घटना ने कानूनी क्षेत्र में हलचल मचा दी, जिसमें कई लोगों ने न्यायाधीश के इस्तीफे की मांग की और उन्हें स्थानांतरित करने के सर्वोच्च न्यायालय कॉलेजियम के प्रस्ताव का आलोचना की.

शुक्रवार को शीर्ष न्यायालय ने एक बयान में कहा कि दिल्ली उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश ने उनके खिलाफ आंतरिक जांच शुरू की है और उन्हें स्थानांतरित करने का प्रस्ताव दिया है. इलाहाबाद उच्च न्यायालय में उनके स्थानांतरण का मामला अलग था.

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@Dheeraj kashyap युवा पत्रकार- विचार और कार्य से आने वाले समय में अपनी मेहनत के प्रति लगन से समाज को बेहतर बना सकते हैं। जरूरत है कि वे अपनी ऊर्जा, साहस और ईमानदारी से र्काय के प्रति सही दिशा में उपयोग करें , Bachelor of Journalism And Mass Communication - Tilak School of Journalism and Mass Communication CCSU meerut / Master of Journalism and Mass Communication - Uttar Pradesh Rajarshi Tandon Open University पत्रकारिता- प्रेरणा मीडिया संस्थान नोएडा 2018 से केशव संवाद पत्रिका, प्रेरणा मीडिया, प्रेरणा विचार पत्रिका,