पूर्व MLA का भाई, जूलॉजी प्रफेसर, VC.. खुद को ओमान का डिप्लोमेट बताने वाले जालसाज का चौंकाने वाला खुलासा

UP News: गाजियाबाद में कृष्ण शेखर राणा नामक व्यक्ति को ओमान का डिप्लोमेट बनने की धोखाधड़ी और जालसाजी के आरोप में गिरफ्तार किया गया। राणा एक जूलॉजी के प्रोफेसर और कई विश्वविद्यालयों के कुलपति रह चुके हैं, जिन्हें उनके साथियों द्वारा एक ईमानदार व्यक्ति के रूप में जाना जाता है। वह सियासी परिवार से भी ताल्लुक रखते हैं।

Mar 16, 2025 - 07:57
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पूर्व MLA का भाई, जूलॉजी प्रफेसर, VC.. खुद को ओमान का डिप्लोमेट बताने वाले जालसाज का चौंकाने वाला खुलासा
आगरा/गाजियाबाद: उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद में बीते दिनों पुलिस ने एक ऐसे शख्स को गिरफ्तार किया जो खुद को ओमान देश का डिप्लोमेट बताकर जालसाजी और धोखाधड़ी की गतिविधियों में शामिल था। राजनयिकों के लिए इस्तेमाल होने वाली नीले रंग की नंबर प्लेट, लाल-नीली बत्ती लगी हुई ब्लैक मर्सिडिज कार से चलने वाले शख्स की पहचान 66 साल के के तौर पर की गई। अब उनके बारे में हैरान करने वाली जानकारी सामने आई है। वह जूलॉजी का प्रोफेसर होने के साथ ही 4 यूनिवर्सिटी में कुलपति रह चुके हैं। इतना ही नहीं, वह एक सियासी परिवार से भी ताल्लुक रखते हैं। वह दिग्गज नेता और पूर्व विधायक विजय सिंह राणा के भाई हैं।गाजियाबाद में ठगी का एक मामला सामने आया है जो अपने अनोखेपन से सबको हैरान कर रहा है। 12 मार्च को, कृष्ण शेखर राणा (66) को ओमान के 'हाई कमिश्नर' बनकर धोखाधड़ी करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया। न केवल उन्होंने जाली लेटरहेड पर पुलिस से सुरक्षा मांगी, बल्कि राणा एक काली मर्सिडीज में नकली नीले रंग की कूटनीतिक नंबर प्लेट लगाकर घूमते थे, जैसी कार अक्सर दिल्ली के लुटियन जोन में देखने को मिलती है।हमारे सहयोगी अखबार TOI को पता चला कि राणा आगरा में काफी जाने-माने हैं, जहाँ उन्होंने अपना खुद का कृष्णा ग्रुप ऑफ कॉलेज स्थापित किया था। वह एक राजनीतिक रूप से प्रभावशाली परिवार से ताल्लुक रखते हैं और पूर्व सपा विधायक विजय सिंह राणा के भाई हैं, जिनका 2021 में निधन हो गया था। उन्होंने अपना पूरा करियर शिक्षा के क्षेत्र में बिताया। और इस गिरफ्तारी ने उनके साथियों को स्तब्ध कर दिया है, जो उन्हें दशकों से जूलॉजी के प्रोफेसर और एक ईमानदार व्यक्ति के रूप में जानते हैं।राणा ने आगरा के डॉ. बीआर अंबेडकर विश्वविद्यालय में 3 दशकों तक पढ़ाया। 1982 में लेक्चरर से लेकर 2006 में प्रोफेसर तक और 2015 में सेवानिवृत्त होने से पहले। इसके बाद, उन्होंने छह विश्वविद्यालयों में कुलपति के पदों पर कार्य किया। इनमें कुमाऊं विश्वविद्यालय, मेवाड़ विश्वविद्यालय और जयपुर तकनीकी विश्वविद्यालय शामिल हैं। आगरा के अंबेडकर विश्वविद्यालय के एक वरिष्ठ प्रोफेसर, जिन्होंने नाम न छापने की शर्त पर TOI को बताया कि छात्र उन्हें पसंद करते थे। उनकी गिरफ्तारी की खबर चौंकाने वाली है। डॉ. राणा एक प्रतिष्ठित विद्वान हैं, और हमने कभी किसी कदाचार के बारे में नहीं सुना।राणा यूके से कानून की डिग्री और न्यूयॉर्क से डी.लिट होने का दावा करते हैं। 1999 में, उन्होंने आगरा में कृष्णा पीजी कॉलेज की स्थापना की, जिसमें अब 1000 से अधिक छात्र हैं। उनका जयपुर हाईवे पर एक रिसॉर्ट भी है, जिसका प्रबंधन उनका बेटा करता है। कॉलेज की वेबसाइट पर, राणा को एक शिक्षाविद्, पर्यावरणविद्, समाजसेवी और सामाजिक कार्यकर्ता के रूप में पेश किया गया है।अपने LinkedIn प्रोफाइल पर, राणा यूके में कॉमनवेल्थ वोकेशनल यूनिवर्सिटी से कानून की डिग्री और न्यूयॉर्क में वर्ल्ड ह्यूमन राइट्स प्रोटेक्शन कमीशन से डी.लिट होने का दावा करते हैं। वह 2015 और 2018 के बीच पर्यावरण मंत्रालय में मूल्यांकन प्राधिकरण के विशेषज्ञ सलाहकार होने का भी दावा करते हैं। MoEF के पास ऐसा कोई विंग नहीं है।परिषद के अधिकारियों ने TOI को बताया कि राणा ने ओमान में एक विश्वविद्यालय स्थापित करने के प्रस्ताव के साथ भारत-GCC (गल्फ कोऑपरेशन काउंसिल) से संपर्क किया था। GCC ने उनके प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया और उन्हें अगस्त 2023 में 'ट्रेड कमिश्नर' के रूप में मानद नियुक्ति दी। भारत-GCC के वली काश्‍वी ने कहा, 'हम उनकी शैक्षणिक पृष्ठभूमि के कारण उनके साथ काम करना चाहते थे। लेकिन कई निमंत्रणों के बावजूद, उन्होंने कभी ओमान का दौरा नहीं किया। उन्होंने हमेशा बहाने बनाए।'

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@Dheeraj kashyap युवा पत्रकार- विचार और कार्य से आने वाले समय में अपनी मेहनत के प्रति लगन से समाज को बेहतर बना सकते हैं। जरूरत है कि वे अपनी ऊर्जा, साहस और ईमानदारी से र्काय के प्रति सही दिशा में उपयोग करें , Bachelor of Journalism And Mass Communication - Tilak School of Journalism and Mass Communication CCSU meerut / Master of Journalism and Mass Communication - Uttar Pradesh Rajarshi Tandon Open University पत्रकारिता- प्रेरणा मीडिया संस्थान नोएडा 2018 से केशव संवाद पत्रिका, प्रेरणा मीडिया, प्रेरणा विचार पत्रिका,