Papmochani Ekadashi 2025: पापमोचनी एकादशी का व्रत क्यों रखते हैं? जानें इसका धार्मिक महत्व

हर साल चैत्र माह के कृष्ण पक्ष की एकादशी पर पापमोचनी एकादशी का व्रत रखा जाता है. इस साल पापमोचनी एकादशी का व्रत 25 मार्च 2025 को रखा जाएगा. लेकिन क्या आप जानते हैं कि पापमोचनी एकादशी का व्रत क्यों रखते हैं? आइए आपको बताते हैं पापमोचनी एकादशी का महत्व.

Mar 16, 2025 - 18:39
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Papmochani Ekadashi 2025: पापमोचनी एकादशी का व्रत क्यों रखते हैं? जानें इसका धार्मिक महत्व
Papmochani Ekadashi 2025: पापमोचनी एकादशी का व्रत क्यों रखते हैं? जानें इसका धार्मिक महत्व

हिंदू धर्म में एकादशी व्रत का विशेष महत्व माना गया है. धार्मिक मान्यता है कि एकादशी व्रत को करने से भगवान विष्णु और माता लक्ष्मी की विशेष कृपा बरसती है. हर महीने में दो बार एकादशी का व्रत रखा जाता है, एक कृष्ण पक्ष में और दूसरा शुक्ल पक्ष में. आमतौर पर एक साल में 24 एकादशी पड़ती है लेकिन अधिकमास या मलमास आता है तो इनकी संख्या 26 हो जाती है.

चैत्र माह की कृष्ण पक्ष पक्ष की एकादशी तिथि को पापमोचनी एकादशी का व्रत रखा जाता है. इस साल पापमोचनी एकादशी का व्रत 25 मार्च 2025 को रखा जाएगा. लेकिन क्या आप जानते हैं कि पापमोचनी एकादशी का व्रत क्यों रखते हैं? आइए आपको बताते हैं पापमोचनी एकादशी का महत्व.

पापमोचनी एकादशी 2025 कब है?

चैत्र माह की कृष्ण पक्ष पक्ष की एकादशी तिथि 25 मार्च को सुबह 5:05 मिनट पर होगा. इस एकादशी तिथि का समापन 26 मार्च को सुबह 3:45 मिनट पर होगा. ऐसे में उदयातिथि के अनुसार,पापमोचनी एकादशी का व्रत 25 मार्च 2025 को किया जाएगा.

पापमोचनी एकादशी का क्या महत्व है?

पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, पापमोचनी एकादशी का व्रत भगवान विष्णु को प्रसन्न करने और अपने पापों से मुक्ति पाने के लिए रखा जाता है. ऐसा माना जाता है कि पापमोचनी एकादशी व्रत को रखने से व्यक्ति को मोक्ष की प्राप्ति होती है और जीवन में सुख-समृद्धि का आगमन होता है. धार्मिक मान्यता है कि पापमोचनी एकादशी का व्रत रखकर शुभ मुहूर्त में पूजा करने से सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं.

सुख-समृद्धि का वास

धार्मिक मान्यता के अनुसार, जैसा की नाम से ही स्पष्ट है, पापमोचनी एकादशी का व्रत रखने से व्यक्ति के सभी पाप मिट जाते हैं. पापमोचनी एकादशी के दिन व्रत रखने के साथ ही लक्ष्मी-नारायण की विधिपूर्वक पूजा-अर्चना करनी चाहिए. साथ ही, पापमोचनी एकादशी की व्रत कथा भी जरूर पढ़नी या सुननी चाहिए. मान्यता है कि ऐसा करने से घर में धन-संपत्ति और सुख-समृद्धि का वास हमेशा बना रहता है.

दिलाती है सभी पापों से मुक्ति

पापमोचनी एकादशी साधक को उसके सभी पापों से मुक्त कर उसके लिए मोक्ष के मार्ग खोलती है. इस व्रत को रखने से जन्म-जन्मांतर के पाप मिट जाते हैं. इसके अलावा, पापमोचनी एकादशी का व्रत रखने से व्यक्ति को सभी तीर्थ स्थलों के दर्शन करने और गायों के दान से भी ज्यादा पुण्य की प्राप्ति होती है.

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@Dheeraj kashyap युवा पत्रकार- विचार और कार्य से आने वाले समय में अपनी मेहनत के प्रति लगन से समाज को बेहतर बना सकते हैं। जरूरत है कि वे अपनी ऊर्जा, साहस और ईमानदारी से र्काय के प्रति सही दिशा में उपयोग करें , Bachelor of Journalism And Mass Communication - Tilak School of Journalism and Mass Communication CCSU meerut / Master of Journalism and Mass Communication - Uttar Pradesh Rajarshi Tandon Open University पत्रकारिता- प्रेरणा मीडिया संस्थान नोएडा 2018 से केशव संवाद पत्रिका, प्रेरणा मीडिया, प्रेरणा विचार पत्रिका,