अग्निवीर स्कीम को लेकर केंद्र सरकार ने बड़ा फैसला चल रहा था विवाद
नेता राहुल गांधी के दावों का खंडन करते हुए कहा था कि 158 संगठनों से सुझाव लेने के बाद इस योजना को लागू किया गया था।
पैरामिलिट्री में 10 फीसदी आरक्षण, भर्ती में छूट समेत अग्निवीरों के लिए सरकार का बड़ा ऐलान
Agniveer Scheme केंद्र सरकार ने अग्निवीर स्कीम को लेकर बड़ा फैसला किया है। पिछले काफी दिनों से विवाद के बावजूद, सरकार ने गृह मंत्रालय के माध्यम से केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (CAPF) में कांस्टेबलों के 10 प्रतिशत पद भूतपूर्व अग्निवीरों के लिए आरक्षित कर दिए हैं। इसके अलावा, केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (CISF) में फिजिकल टेस्ट में भी छूट दी जाएगी।
गृह मंत्रालय के अनुसार, अग्निवीरों को केंद्रीय पुलिस बलों में नौकरी मिलेगी और उनके लिए 10 प्रतिशत पद आरक्षित रहेंगे। CISF की महानिदेशक नीना सिंह ने बताया कि CISF ने भी इस संबंध में सभी तैयारियां कर ली हैं।
अग्निपथ योजना को लेकर विवाद:
हाल ही में खत्म हुए संसद सत्र के दौरान विपक्ष ने अग्निपथ योजना पर सवाल उठाए। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी के दावों का खंडन करते हुए कहा था कि 158 संगठनों से सुझाव लेने के बाद इस योजना को लागू किया गया था। राहुल गांधी ने दावा किया था कि सरकार अग्निवीरों को इस्तेमाल करके फेंक देने वाले मजदूर के रूप में देखती है और उन्हें शहीद का दर्जा भी नहीं देती।
2022 में शुरू की गई थी स्कीम:
14 जून 2022 को घोषित अग्निपथ योजना में 17 से 21 साल की उम्र के युवाओं को केवल चार सालों के लिए भर्ती करने का प्रावधान है, जिसमें 25 प्रतिशत अग्निवीरों को अगले 15 सालों तक बनाए रखने का भी प्रावधान है। सरकार ने बाद में ऊपरी आयु सीमा को बढ़ाकर 23 साल कर दिया। योजना के तहत पूर्व अग्निवीरों के पहले बैच के लिए अपर एज लिमिट में 5 साल की छूट दी गई थी और बाद के बैचों के लिए तीन साल की छूट दी गई थी।
सरकार के इस फैसले से जहां एक ओर भूतपूर्व अग्निवीरों को नई संभावनाएं मिलेंगी, वहीं दूसरी ओर इस योजना के विरोधियों को भी कुछ हद तक संतुष्टि मिल सकती है। यह कदम युवा पीढ़ी को प्रोत्साहित करने और उन्हें सम्मानजनक रोजगार देने के दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण माना जा रहा है।
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