भारतीय समुद्रयान 2025 तक समुद्र तल की शोध के लिए होगा तैयार
भारत को अगले साल के अंत तक विज्ञानियों को समुद्रयान में छह किमी नीचे समुद्र के अध्ययन
भारतीय समुद्रयान 2025 तक समुद्र तल की शोध के लिए होगा तैयार
- रिजिजू ने कहा, मत्स्य 6000 का परीक्षण इस साल के अंत तक होगा
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केंद्रीय मंत्री किरण रिजिजू ने कहा कि भारत को अगले साल के अंत तक विज्ञानियों को समुद्रयान में छह किमी नीचे समुद्र के अध्ययन के लिए भेजने में सक्षम होना चाहिए। भारत की गहरे समुद्र में मत्स्य 6000 का परीक्षण इस साल के अंत तक किया जा सकता है। रिजिजू ने कहा कि जब आप समुद्रयान के बारे में बात कर रहे हैं,
समुद्र के अंदर छह किमी की गहराई तक जाने के मिशन के बारे में बात कर रहे हैं, जहां प्रकाश भी नहीं पहुंच सकता। परियोजना की समीक्षा की है और इस साल के अंत तक विज्ञानियों को पहला परीक्षण करने में सक्षम होना चाहिए। इस मिशन की शुरुआत 2021 में हुई थी।
इसमें तीन सदस्यों के दल को भेजने के लिए डिजाइन मत्स्य 6000 का उपयोग कर मध्य हिंद महासागर में समुद्र तल तक पहुंचकर शोध करना है। यह सेंसर और उपकरणों से सुसज्जित होगा। इसकी परिचालन क्षमता 12 घंटे होगी। आपात स्थिति में इसे 96 घंटे तक बढ़ाया जा सकता है। अब तक अमेरिका, रूस, चीन, फ्रांस और जापान जैसे देशों ने गहरे समुद्र में सफल मिशनों को अंजाम
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